विश्व रंगमंच दिवस
जग के नाटक मंच का,प्रहसन लिखता कौन।
कर्मों का फल झेलता,अभिनय कर्ता मौन।।
अनिता सुधीर आख्या
राम नवमी की हार्दिक शुभकामनाएं दर्शन चिंतन राम का,हो जीवन आधार। आत्मसात कर मर्म को,मर्यादा ही सार।। बसी राम की उर में मूरत मन अम्बर कुछ ड...
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