मनहरण घनाक्षरी छन्द
शिक्षा कला संगीत की,देवी तुम हो शारदे
हृदय में प्रीत भरो, जीवन को तार दे।।
विचार और भावना,मन में हो संवेदना
करते यह प्रार्थना, जन्म ये सुधार दे।।
धवल वस्त्र धारिणी ,मयूर हंस वाहिनी ,
सद्बुद्धि विद्या दायिनी, ज्ञान से सवाँर दे।।
माता वीणा वादिनि को ,पूजते विष्नु महेश
देकर आशीष अम्बा, तम से उबार दे।।
अनिता सुधीर आख्या
जय माँ शारदे 🙏🙏💐💐
ReplyDeleteनमन माँ शारदे 💐💐💐💐🙏🏼🙏🏼
ReplyDeleteसुन्दर रचना
ReplyDeleteजय माँ शारदे🙏 अत्यंत सुंदर घनाक्षरी🙏
ReplyDeleteबहुत सुन्दर माता शारदे
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